गोल्डन टेम्पल अमृतसर: यदि आप अमृतसर में स्वर्ण मंदिर की यात्रा करने जा रहे हैं, तो वहां की कई ऐतिहासिक और खूबसूरत जगहों की सैर भी कर सकते हैं। वाघा बॉर्डर और जलियांवाला बाग के अलावा, इस शहर में अनेक ऐतिहासिक स्थल हैं जिन्हें देखना बेहद दिलचस्प होगा। आइए, इन खास जगहों के बारे में जानते हैं।
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पंजाब का मशहूर शहर अमृतसर एक प्रमुख पर्यटन स्थल के रूप में जाना जाता है। यहां गोल्डन टेंपल की भव्यता से लेकर वाघा बॉर्डर और जलियांवाला बाग जैसी ऐतिहासिक जगहों को देखने के लिए लोग दूर-दूर से आते हैं। अमृतसर अपनी सांस्कृतिक धरोहर और स्वादिष्ट व्यंजनों के लिए तो प्रसिद्ध है ही, लेकिन इसके साथ ही इस शहर और इसके आसपास कई ऐसी जगहें भी हैं, जिनके बारे में बहुत कम लोग जानते हैं।
अगर आप भी गोल्डन टेंपल के दर्शन के लिए अमृतसर जाने की योजना बना रहे हैं, तो यहां की कई अन्य जगहों को भी देख सकते हैं। इस शहर में कई ऐतिहासिक स्थलों की सैर कर आप इसके समृद्ध इतिहास को करीब से जानने का अवसर पा सकते हैं।
दुर्गियाना मंदिर
आप अमृतसर में स्थित दुर्गियाना मंदिर के दर्शन के लिए जा सकते हैं, जिसे लक्ष्मी नारायण मंदिर के नाम से भी जाना जाता है। यह मंदिर एक पवित्र झील के मध्य स्थित है और इसकी संरचना काफी हद तक गोल्डन टेम्पल की तरह दिखती है।
गोबिंदगढ़ किला
आप अपने बच्चों के साथ गोबिंदगढ़ किला घूमने जा सकते हैं, जो सुबह 10 बजे से रात 10 बजे तक खुला रहता है। यह लाइव म्यूज़ियम ओल्ड कैंट रोड पर लोहागढ़ चौक के पास स्थित है। यहां विभिन्न प्रकार के संग्रहालय मौजूद हैं, जहां जाकर आप ऐतिहासिक वस्तुओं और इतिहास के बारे में जानकारी प्राप्त कर सकते हैं।
महाराज रणजीत सिंह संग्रहालय
यह संग्रहालय महाराजा रणजीत सिंह को समर्पित है और घूमने के लिए एक बेहतरीन स्थान है। यह अमृतसर के रामबाग गार्डन में स्थित है, जो पहले एक महल हुआ करता था, लेकिन बाद में इसे संग्रहालय में बदल दिया गया। इस संग्रहालय में 18वीं और 19वीं सदी के सिख इतिहास और संस्कृति के बारे में जानकारी प्राप्त करने का अवसर मिलता है।
राम तीर्थ मंदिर अमृतसर
अमृतसर में स्थित राम तीर्थ मंदिर भगवान राम को समर्पित है और इसे वाल्मीकि तीर्थ मंदिर के नाम से भी जाना जाता है। मान्यताओं के अनुसार, यहां महर्षि वाल्मीकि का आश्रम था। कहा जाता है कि माता सीता के परित्याग के बाद, महर्षि वाल्मीकि ने उन्हें यहीं अपने आश्रम में आश्रय दिया था। साथ ही, इस पवित्र स्थान पर ही लव और कुश का जन्म हुआ था।
पंजाब स्टेट वॉर हीरोज मेमोरियल एंड म्यूजियम
पंजाब राज्य युद्ध नायक स्मारक और संग्रहालय सोमवार को छोड़कर हर दिन सुबह 10 बजे से शाम 5 बजे तक खुला रहता है। यह अमृतसर में वाघा बॉर्डर के पास स्थित है और इसका मुख्य उद्देश्य पंजाब के वीर जवानों की बहादुरी को प्रदर्शित करना है। यहां परिसर में 45 मीटर ऊंची स्टेनलेस स्टील की तलवार भी मौजूद है, जो वीरता की प्रतीक है।